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Lucknow : मुख्य सचिव ने राज्य कर्मचारी साहित्य संस्थान, उ0प्र0 द्वारा आयोजित पुरस्कार एवं सम्मान समारोह व कवि सम्मेलन अलंकरण का दीप प्रज्ज्वलित कर किया शुभारंभ

लखनऊ ( DNM NEWS AGENCY) : मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने लखनऊ विश्वविद्यालय के मालवीय सभागार में राज्य कर्मचारी साहित्य संस्थान, उत्तर प्रदेश द्वारा आयोजित पुरस्कार एवं सम्मान समारोह (वर्ष 2022-2023) व कवि सम्मेलन अलंकरण का दीप प्रज्जवलित कर शुभारंभ किया।अपने संबोधन में मुख्य सचिव ने कहा कि साहित्य हमें अवसाद से बचाता है। साहित्य मानवीय सभ्यता को आगे ले जाने वाली ताकत है। साहित्यकार की दृष्टि बहुरंगी है। इस खूबसूरती को बचाना है। आने वाले वक्त में हम जो अपनी विरासत छोड़ जाएंगे, वही हमारा योगदान है।उन्होंने कहा कि सेवा काल में रहते हुए हम यह सोचते हैं कि हम नहीं रहेंगे तो कार्य कैसे होंगे, लेकिन यह सत्य नहीं है, सारे कार्य हमारे न होने पर भी होते रहते हैं। सरकारी काम के साथ अपनी मूल सोच को बचाए रखना जरूरी है।आपके अंदर जो प्रतिभा है, उसे सामने लाएं।उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के प्रतिभाशाली अधिकारी और कर्मचारियों अपने कार्य के साथ-साथ साहित्य सेवा में निरंतर कार्य कर रहे हैं, उनके द्वारा लिखी गई पुस्तक आम जनमानस को प्रेरणा एवं जागरुक करती हैं। मानवता के प्रति भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों की संवेदना जुड़ी रहती है, उनमें समाज को देखने, समझने और परखने की प्रतिभा होती है। वह अन्य लोगों से अलग होते हैं।
उन्होंने कहा कि मा0 प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन तथा मा0 मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में पिछले 6 साल में उत्तर प्रदेश में बड़ा परिवर्तन हुआ है। आम जनमानस की मूलभूत सुविधा के लिए प्रदेश में सकरात्मक माहौल बना हुआ है। जीआईएस-2023 में हजारों की संख्या में निवेशक उपस्थित थे, उन निवेशकों को उत्तर प्रदेश में पूरा भरोसा है कि हमारा प्रस्तावित निवेश पूरी तरह से सुरक्षित है। पूरे उत्तर प्रदेश के 75 जनपद के लिए कई लाख करोड़ रुपए का निवेश प्रस्तावित है। इस अवसर पर मुख्य सचिव द्वारा साहित्यकारों को पुरस्कार एवं सम्मान प्रदान किये गये। नितिन रमेश गोकर्ण (पुस्तक-श्रीगोकर्णपुराणसारः) को रामधारी सिंह दिनकर पुरस्कार, हरपाल सिंह (पुस्तक-गोकरन की बीवी) को शिव सिंह सरोज पुरस्कार, डॉक्टर हरिओम (पुस्तक-मानसरोवर) को पंडित महावीर प्रसाद द्विवेदी पुरस्कार, पार्थ सारथी सेन शर्मा (पुस्तक-लव इन लखनऊ) को सुब्रमण्यम भारती पुरस्कार, सुषमा सिंह (पुस्तक-बताओ मनु) को भारतेंदु हरिश्चंद्र पुरस्कार, के0डी0सिंह (पुस्तक-छलकत जाए ज्ञान घट) को भगवती चरण वर्मा पुरस्कार,अनिल कुमार पाठक (पुस्तक-पारस बेला) को सुमित्रानंदन पंत पुरस्कार, डॉक्टर दिनेश चंद्र सिंह (पुस्तक-काल प्रेरणा) को अमृतलाल नागर पुरस्कार,सूर्य नारायण पांडे (पुस्तक-पंचफोरन) को डॉ0 विद्यानिवास मिश्र पुरस्कार, अनुपम आनंद (पुस्तक-नवजागरण के निकष पर) को श्यामसुंदर दास पुरस्कार, डॉ0 उदित नारायण पांडे-उदित (पुस्तक-जागो रे जागो) को जयशंकर प्रसाद पुरस्कार प्रदान किया गया।